मोहम्मद शमी को चुनौती देना चाहते थे : रोहित शर्मा..

ब्रिस्बेन, । भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अभ्यास मैच का आखिरी ओवर मोहम्मद शमी को सौंपने के बारे में कहा कि वह लंबे समय बाद मैदान में लौट रहे शमी को “एक चुनौती” देना चाहते थे। पिछले साल संयुक्त अरब अमीरात में आयोजित टी20 विश्व कप के बाद एक भी टी20 अंतरराष्ट्रीय न खेलने वाले शमी पूरे मैच के दौरान मैदान से गायब रहे। उन्होंने ऑस्ट्रेलिया की पारी के शुरुआती 19 ओवरों में एक भी गेंद नहीं फेंकी, लेकिन रोहित ने 20वें ओवर में 11 रनों की रक्षा की जिम्मेदारी उनको दी। शमी ने सभी को हैरान करते हुए इस ओवर में केवल चार रन देकर तीन विकेट अपने नाम किये।
रोहित ने सोमवार को मैच के बाद कहा, “वह लंबे समय बाद वापसी कर रहे हैं, इसलिये हम उन्हें एक ओवर देना चाहते थे। यह शुरू से हमारी योजना थी कि वह डेथ ओवरों में आकर गेंदबाजी करें। हम जानते हैं कि वह नई गेंद के साथ कितने घातक हो सकते हैं, तो हम उन्हें डेथ ओवर में गेंदबाजी करने की चुनौती देना चाहते थे, और हमने देखा कि वह कैसा था।” शमी के तीन विकेटों के अलावा 20वें ओवर में एश्टन एगर रनआउट हुए और ऑस्ट्रेलिया लक्ष्य से छह रन पीछे रह गई। कप्तान ऐरन फिंच ने ऑस्ट्रेलियाई पारी की अगुवाई करते हुए 54 गेंदों पर 76 रन बनाये जबकि सलामी बल्लेबाज मिचेल मार्श ने 18 गेंदों पर 35 रन बनाये। ऑस्ट्रेलिया 18 ओवर में 171 रन बनाकर लक्ष्य के बेहद करीब थी, लेकिन 19वें ओवर में फिंच और टिम डेविड का विकेट गिरने से मैच रोमांचक हो गया। इसके बाद शमी ने 20वें ओवर में बची कुची कसर पूरी कर दी। रोहित ने कहा, “निश्चित रूप से सुधार की गुंजाइश है। मुझे यकीन है कि हम इस पर काम कर रहे हैं लेकिन मैं गेंद के टप्पे में और अधिक नियमितता देखना चाहता हूं। जब आप ऑस्ट्रेलियाई परिस्थितियों में खेल रहे हैं तो आपको अपनी रणनीति और टप्पे को बदलने की जरूरत होगी।”
उन्होंने कहा, “यह कुछ ऐसा है जिस पर हम काम कर रहे हैं और इसके बारे में आपस में बात कर रहे हैं। कुल मिलाकर, यह हमारे लिए एक अच्छा मैच था। बीच में उनकी साझेदारी अच्छी थी, जिसने हम पर थोड़ा दबाव डाला लेकिन हमारे आखिरी तीन-चार ओवर वाकई बेहतरीन थे।” मैच की पहली पारी भी भारतीय नज़रिये सराहनीय रही जहां केएल राहुल और सूर्यकुमार यादव ने तेज अर्धशतक जमाकर टीम को मज़बूत स्कोर तक पहुंचाया। रोहित ने कहा, “मुझे लगा कि हमने अच्छी बल्लेबाजी की। अंत में हम 10-15 रन और जोड़ सकते थे। यह कुछ ऐसा है जिसके बारे में हम बात कर रहे हैं। हम चाहते हैं कि विकेट पर कदम जमा चुका बल्लेबाज ज्यादा से ज्यादा समय तक और अंत तक बल्लेबाजी करे, जो सूर्या ने कुछ हद तक किया।” रोहित ने गाबा के बड़े मैदान के बारे में कहा, “जब आप इस तरह के मैदानों पर अपनी बल्लेबाजी की योजना बनाते हैं तो आपको समझदार होना पड़ता है। चौके और छक्के मारना बेशक अच्छा लगता है, लेकिन आप गेंद को गैप में धकेलना और विकेटों के बीच दौड़कर ओवर में आठ-नौ रन प्राप्त करना नहीं भूल सकते।”
सियासी मीयार की रिपोर्ट
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