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भारत का लक्ष्य 2024-25 तक रक्षा निर्यात को पांच अरब डॉलर तक है ले जाना : मोदी…

भारत का लक्ष्य 2024-25 तक रक्षा निर्यात को पांच अरब डॉलर तक है ले जाना : मोदी…

बेंगलुरू, 13 फरवरी । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि भारत का लक्ष्य 2024-25 तक रक्षा निर्यात को पांच अरब डॉलर तक ले जाने का है और वह रक्षा उत्पादक देशों में शामिल होने के लिए तेजी से आगे बढ़ेगा। श्री मोदी ने यहां एयरो इंडिया 2023 का उद्घाटन करने के बाद कहा, ‘‘भारत ने पिछले 8-9 वर्षों में अपने रक्षा क्षेत्र का कायाकल्प किया है। हम इसे केवल शुरुआत मानते हैं। हमारा लक्ष्य 2024-25 तक रक्षा निर्यात को पांच अरब डॉलर तक ले जाना है। भारत अब रक्षा उत्पादक देशों में शामिल होने के लिए तेजी से आगे बढ़ेगा।” उन्होंने कहा कि आज भारत न केवल विश्व रक्षा कंपनियों के लिए एक बाजार है, बल्कि एक भागीदार है और उन देशों के लिए एक उपयुक्त भागीदार के रूप में भी उभर रहा है जो अपनी सुरक्षा जरूरतों को पूरा करना चाहते हैं। हमारी तकनीक लागत प्रभावी होने के साथ-साथ ईमानदार इरादे के साथ विश्वसनीय है। प्रधानमंत्री ने कहा कि तेजस लड़ाकू विमान, स्वदेशी रूप से विकसित आईएनएस विक्रांत और तुमकुरु में हेलीकॉप्टर कारखाना मेक इन इंडिया की ताकत के उदाहरण हैं। उन्होंने जोर दिया कि 21वीं सदी का भारत न तो कोई अवसर गंवाएगा और न ही अपने सपनों को हासिल करने के लिए कड़ी मेहनत करने से कतराएगा। उन्होंने कहा कि आज का भारत तेज, दूर तक सोचता है और तेजी से फैसले लेता है। उन्होंने कहा कि अमृत काल का भारत लड़ाकू पायलट की तरह आगे बढ़ रहा है। व्यापार करने में सुगमता (ईज ऑफ डूइंग बिजनेस) की दिशा में भारत में किए गए सुधारों की चर्चा आज पूरी दुनिया में हो रही है और भारत ने वैश्विक निवेश और भारतीय नवाचार के लिए अनुकूल माहौल बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं। उन्होंने कहा कि एक समय था जब एयरो इंडिया को भारत में रक्षा प्रदर्शन की खिड़की माना जाता था, लेकिन वर्षों से यह आयोजन भारत की ताकत के प्रतिबिंब के रूप में विकसित हुआ है और इसके रक्षा क्षेत्र पर ध्यान केंद्रित किया गया है। उन्होंने कहा कि भारत की सफलताएं उसकी संभावनाओं और क्षमता का प्रमाण दे रही हैं तेजस विमान ‘मेक इन इंडिया’ की सफलता का प्रमाण है। आज का आयोजन भारत की नई सोच को भी दर्शाता है। यह आयोजन केवल दिखावा नहीं है, यह भारत की ताकत भी है। श्री मोदी ने कहा कि यह आयोजन एक और कारण से बहुत खास है क्योंकि यह कर्नाटक जैसे राज्य में हो रहा है जिसे प्रौद्योगिकी की दुनिया में विशेष विशेषज्ञता प्राप्त है। उन्होंने कहा कि यह आयोजन हवाई क्षेत्र और रक्षा के क्षेत्र में नए अवसर पैदा करेगा। कर्नाटक के युवाओं के लिए नई संभावनाएं पैदा होंगी।

सियासी मियार की रिपोर्ट