कांग्रेस ने एहतियाती खुराक को निजी अस्पतालों में उपलब्ध कराने को लेकर सरकार पर निशाना साधा..

नई दिल्ली, । कांग्रेस ने 18 वर्ष से अधिक आयु के लोगों के लिए कोविड-19 टीके की एहतियाती खुराक की उपलब्धता की घोषणा को लेकर सरकार पर निशाना साधते हुए शनिवार को आरोप लगाया कि गरीबों एवं अमीरों तथा ग्रामीण और शहरी भारत के बीच दीवार खड़ी की गई है।
पार्टी प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘यह समझ नहीं आ रहा है कि बूस्टर डोज के माध्यम से सरकार निजी अस्पतालों को महामारी में मुनाफाखोरी क्यों करने दे रही है? सरकार ने चीन के एप को प्रतिबंधित कर दिया, लेकिन वह लोगों के बीच चीन की दीवार बना रही है। सरकार का कदम गरीब और अमीर के बीच दीवार ख़ड़ी करता है। यह शहरी और ग्रामीण भारत के बीच दीवार खड़ी करता है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘बूस्टर खुराक का खर्च 800 रुपये होगा। यह कोई इतनी कम रकम नहीं है कि हर व्यक्ति खर्च सके। अगर हर व्यक्ति इतना पैसा खर्च करना भी चाहे तो भी देश के बड़े हिस्से में निजी अस्पताल नहीं है। सरकारी अस्पतालों में बूस्टर खुराक लेने की सुविधा नहीं दी गई।’’
सिंघवी ने दावा किया, ‘‘देश में 18 से 60 साल की आयु वर्ग के लोगों की आबादी करीब 60 करोड़ है। इस हिसाब से 48000 करोड़ रुपया निजी क्षेत्र को जाएगा।’’ उन्होंने सवाल किया कि क्या सरकार इस भार को कुछ कम नहीं कर सकती? कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘मुनाफाखोरी की इस चाल के खिलाफ हर नागरिक को आवाज उठानी चाहिए। मांग करनी चाहिए कि इस खर्च को कम किया जाए।’’ केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने 10 अप्रैल से निजी टीकाकरण केंद्रों में 18 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोगों के लिए कोविड-19 टीके की एहतियाती खुराक उपलब्ध कराए जाने की शुक्रवार को घोषणा की।
सियासी मीयार की रिपोर्ट
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