वो 8 बड़े मामले जिनके बल पर बीजेपी ने लिख दी यूपी में जीत की नई इबारत….

लखनऊ, 10 मार्च । पंजाब उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव कवरेज के दौरान मंहगाई, बेरोजगारी, आवारा पशु, ये तीन प्रमुख मुद्दे थे, जिस पर जनता योगी सरकार से नाराज नजर आ रही थी. योगी सरकार भले ही बार-बार इस पर सफाई दे रही थी मगर ये मुद्दे जनता खुलकर बोल रही थी. हमने महिलाओं, युवाओं, किसानों, व्यापारियों, छात्राओं से बातचीत की. इस वर्ग ने सरकार के कुछ अच्छे कामों को गिनाया. बीजेपी के साथ एक प्लस पॉइंट था कि जनता के बीच योगी आदित्यनाथ की छवि को लेकर रोष नहीं था. लोग मुद्दों पर नाराज थे मगर योगी आदित्यनाथ की छवि पर कोई खास गुस्सा नहीं था. यहां पर हम आपको बताते हैं कि आखिरकार इस चुनाव में बीजेपी की चमत्कारी जीत के पीछे किन मुद्दों का हाथ रहा.
आतंकवाद
इन चुनावों में आतंकवाद का भी मुद्दा गरमाया. भाजपा ने आरोप लगाया कि अहमदाबाद बम धमाकों के मामले में जिन 38 दोषियों को फांसी की सजा दी गयी है उनमें से एक के परिवार का संबंध सपा मुखिया अखिलेश यादव से है. यूपी में भाजपा के चुनाव प्रभारी व केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने नई दिल्ली में एक प्रेस वार्ता में आरोप लगाया कि लखनऊ, रामपुर समेत कई जिलों में हुए बम विस्फोट के आरोपियों को सपा ने ही बचाया. उन्होंने अहमदाबाद बम धमाके के मामले में फांसी की सजा पाने वाले मोहम्मद सैफ का जिक्र करते हुए कहा कि सैफ के पिता शादाब अहमद और सपा प्रमुख अखिलेश यादव एक फोटो में साथ खड़े नजर आते हैं.
आवारा पशु
आवारा पशुओं का मुद्दा इस बार सुर्खियों में बना रहा. किसानों का बड़ी समस्या थी. जिसको सरकार शुरू से ही नजरअंदाज करती नजर आई. आलम ये हुआ की चुनाव के दौरान किसानों का ये बड़ा मुद्दा बन कर सामने आया. विपक्षी दलों ने इस मुद्दे को लेकर जमकर सरकार पर जमकर हमला बोला. दरअसल, यूपी में बीते कुछ सालों से आवारा पशुओं की समस्या देखने को मिली है. गावों में आवारा पशुओं ने खेतों में फसल को नुकसान पहुंचाया है. जिससे किसानों को खासा नुकसान हुआ. किसानों को रात भर जाग कर छुट्टा जानवरों से अपनी फसल बचाना पड़ता है. वहीं आवारा पशुओं की वजह से कई सड़क हादसे भी देखने को मिले हैं.
फ्री राशन
बीजेपी की तरफ से चुनाव प्रचार के दौरान इस मुद्दे को जमकर उठाया गया. खासतौर पर पूर्वांचल की तरफ. ये मुद्दा बीजेपी को इस चुनाव में बड़ा फायदा करा सकता है. जबकि सपा को बड़ा नुकसान. दरअसल बीजेपी ने कोरोना काल में गरीबों के फ्री राशन बांटने का काम किया और ये राशन महीने में 2 बार दिया जाता है. बाद में तेल, नमक बांटने का काम भी किया गया. कई बार पीएम मोदी भी फ्री राशन बांटने के मुद्दे पर बोलते नजर आए. फ्री राशन का मुद्दा अखिर के 3 चरणों में बड़ा असर डाल सकता है.
बुलडोजर
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा चुनाव शुरू होते ही विकास के रास्ते में आने वालों पर बुलडोजर चलवाने संबंधी बयान को विपक्षी दल उन पर काफी हमलावर रहे. मगर भाजपा के साथ योगी आदित्यनाथ भी अपने बुलडोजर एक्शन को सही बताते हुए जनसमर्थन हासिल करने पर डटे रहे. नौबत तो यहां तक आ गई कि मुख्यमंत्री की चुनावी सभाओं में प्रत्याशियों व उनके समर्थकों की ओर से मंच के बगल में बुलडोजर खड़ा करवाया जाने लगा. मुख्यमंत्री इस दृश्य को देखकर काफी खुश होते थे.
परिवारवाद
चुनाव के दौरान परिवारवारवाद का मुद्दा भी खूब गरमाया. सपा मुखिया अखिलेश यादव ने भाजपा पर हमला करते हुए आरोप लगाया कि भाजपा के कई बड़े नेताओं के परिजनों को उम्मीदवार बनाया गया. खुद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी इस मुद्दे पर बयान देने से नहीं चूके. बीती 28 फरवरी को महाराजगंज की चुनावी सभाओं में सपा व कांग्रेस पर प्रहार करते हुए कहा कि इन परिवारवादियों को कहीं आना जाना होता है तो इनके पास बड़ी गाड़ियां होती हैं, पलक झपकते ही हवा में उड़ सकते हैं लेकिन गरीब को तो जमीन पर ही रहना होता है. उन्होंने कहा कि परिवारवाद की पालिटिक्स करने वाले यूपी को मजबूत नहीं बना सकते.
महिला सुरक्षा
बीजेपी के प्रति महिलाओं की संवेदानाएं बढ़ी हैं. इस बात को हमने गांव-गांव में लोगों से पूछकर पता किया. महिलाओं ने कहा कि इस सरकार में महिलाओं को डर नहीं लगा. ग्रामीण इलाकों से ताल्लुक रखने वालीं महिलाओं ने कहा कि गांव के दबंग लोग अब हमको सताने से डरते हैं. इस सरकार ने गुंडों पर लगाम लगाई है. ग्रामीण महिलाओं ने यहां तक कहा कि 2017 से पहले एक खास जाति के लोग हमको डराते थे, धमकाते थे और हमारी जमीनों पर कब्जा तक कर लेते थे. जब हम उनकी शिकायत करने के लिए पुलिस थाने जाते थे तो वहां पर भी हमारी सुनवाई नहीं होती थी.
कानून व्यवस्था
योगी सरकार ने गुंडा राज का मुद्दा जोरों से उठाया था. 2017 के पहले प्रदेश के अंदर छोटे-बड़े कई दंगे हुए थे. योगी सरकार ने इसको प्रमुख मुद्दा बनाया था और ये मुद्दा हमको अपनी चुनावी कवरेज के दौरान दिखा भी. आम लोगों के प्रति ये धारणा की सपा सरकार में गुंडाराज चरम में था. लोगों को जीना दूभर था. लेकिन योगी सरकार में किसी भी तबके को गुंडई की इजाजत नहीं थी. इस सरकार में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई गुंडों का एनकाउंटर भी किया गया. कई बड़े माफिया जेलों के अंदर बंद है. लगभग हर जगह लोगों ने कानून व्यवस्था को सराहा. बीजेपी के लिए ये प्लस पॉइंट रहा.
हाईवे और लिंक रोड
बीजेपी की जीत का एक और बड़ा कारण हैं वो है हाईवे और लिंक रोड. इस सरकार में एक्सप्रेस-वे, हाईवे और लिंक रोड पर काफी काम हुआ है. केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने देशभर में एक्सप्रेस-वे और सड़कों पर काफी काम किया है. यूपी की सड़कें काफी खराब थीं. इस सरकार गांव-गांव की सड़कों को दुरुस्त किया है. इस फैक्टर के कारण लोगों का समय और पैसा दोनों बचा. इस फैक्टर ने भी लोगों को काफी मदद पहुंचाई है. राम मंदिर, काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, कुशीनगर एयरपोर्ट, पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे अयोध्या में राम मंदिर बनना शुरू हो गया है. बीजेपी सरकार आने के बाद यहां पर भव्य दिपावली भी मनाई जाने लगी. ये कुछ मुद्दे ऐसे थे जिसने पूरे प्रदेश की जनता का ध्यान आकर्षित किया. अयोध्या का राम मंदिर, बनारस काशी विश्वनाथ कॉरीडोर, कुशीनगर एयरपोर्ट और पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे की चर्चा जोरों पर रहीं. ये कुछ ऐसे काम थे जिनका जिक्र केवल जिले या राज्य में नहीं बल्कि पूरे देश में है. जनता ने इन मुद्दों को ध्यान में रखकर भी वोटिंग की है. उसी का नतीजा है.
सियासी मियार की रिपोर्ट
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