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जन औषधि से बचे आम जनता के 15 हजार करोड़ रुपए..

जन औषधि से बचे आम जनता के 15 हजार करोड़ रुपए..

नई दिल्ली, 31 मई । आम आदमी विशेषकर गरीबों के लिए सस्ती दर पर गुणवत्तापूर्ण दवाएं उपलब्ध कराने के प्रधानमंत्री भारतीय जनऔषधि केंद्रों (पीएमबीजेके) से अभी तक 15 हजार करोड़ रुपए की बचत हो चुकी है। केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्रालय ने मंगलवार काे यहां बताया कि प्रधान मंत्री भारतीय जनऔषधि परियोजना (पीएमबीजेपी) की कार्यान्वयन एजेंसी, फार्मास्यूटिकल्स एंड मेडिकल डिवाइसेस ब्यूरो ऑफ इंडिया (पीएमबीआई) ने पहली बार मई, 2022 में 100 करोड़ की बिक्री का आंकड़ा पार किया है। पिछले पांच वर्ष में इस योजना से आम जनता को 15 हजार करोड़ रुपए का लाभ हो चुका है।

मंत्रालय ने बताया कि मार्च 2024 तक प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्रों की संख्या 10000 तक बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है। अभी तक जन औषधि केन्द्रों की संख्या बढ़कर 8735 हो गई है। ये देश के 739 जिलों में फैली हुई है। वर्तमान में, ये केंद्र 1600 से अधिक दवाएं और 250 सर्जिकल उपकरण उपलब्ध कराते हैं जिनमें न्यूट्रास्यूटिकल्स, आयुष उत्पाद और सुविधा सेनेटरी पैड शामिल हैं। पीएमबीजेपी के तहत देश के प्रत्येक नागरिक को जन औषधि केंद्रों के माध्यम से गुणवत्तापूर्ण जेनेरिक दवाएं उपलब्ध कराने के लिए 406 जिलों के 3579 ब्लॉकों में नए आवेदन भी आमंत्रित किए गए हैं। छोटे शहरों और ब्लॉक मुख्यालयों के निवासी अब जन औषधि केंद्र खोलने के अवसर का लाभ उठा सकते हैं। पीएमबीआई ने गुरुग्राम, चेन्नई, गुवाहाटी और सूरत में चार गोदामों की स्थापना करके आपूर्ति श्रृंखला प्रणाली को मजबूत किया है। इसके अलावा, भारत के हर हिस्से में समय पर आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए पूरे भारत में 39 वितरकों का एक मजबूत वितरक नेटवर्क है।

सियासी मीयर की रिपोर्ट