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सीबीआई ने आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्राचार्य और अन्य से पूछताछ शुरू की

सीबीआई ने आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्राचार्य और अन्य से पूछताछ शुरू की

कोलकाता, 26 अगस्त। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के अधिकारियों ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (आरजीकेएमसीएच) में कथित वित्तीय अनियमितताओं की जांच के सिलसिले में सोमवार को संस्थान के पूर्व प्राचार्य संदीप घोष और पूर्व चिकित्सा अधीक्षक एवं उप प्राचार्य संजय वशिष्ठ से पूछताछ शुरू की। सीबीआई के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।

सीबीआई के अधिकारियों ने रविवार को घोष के बेलियाघाटा आवास पर तलाशी ली थी। वह सोमवार को सुबह फाइल और दस्तावेजों के साथ साल्ट लेक स्थित एजेंसी के दफ्तर पहुंचे।

अधिकारी के अनुसार, वशिष्ठ के घर पर भी सीबीआई अधिकारियों ने छापा मारा था। वशिष्ठ निजाम पैलेस में केंद्रीय एजेंसी के अधिकारियों के समक्ष पेश हुए।

अधिकारी ने बताया कि फॉरेंसिक मेडिसिन विभाग के एक प्रोफेसर को भी उसी कार्यालय में पूछताछ के लिए बुलाया गया है। अधिकारी ने कहा, ‘‘कल के तलाशी अभियान के बाद हमारे पास उनके लिए कई सवाल हैं।’’

सीबीआई ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (आरजीकेएमसीएच) में कथित वित्तीय अनियमितताओं के मामले में अपनी जांच के सिलसिले में रविवार को घोष, वशिष्ठ और 13 अन्य लोगों के कोलकाता में और उसके आसपास स्थित परिसरों में एक साथ तलाशी ली थी।

सीबीआई की भ्रष्टाचार निरोधक इकाई ने रोगियों की देखभाल के लिए सामग्री की आपूर्ति करने वाले कुछ लोगों के दफ्तरों और आवासों पर भी छापे मारे।

आरजीकेएमसीएच के पूर्व उपाधीक्षक अख्तर अली द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के अनुसार, घोष ने अस्पताल के प्राचार्य के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान अपने सहयोगियों के साथ मिलकर स्वास्थ्य विभाग और कॉलेज काउंसिल की अनुमति के बिना फूड स्टॉल, कैफे, कैंटीन और मूत्रालय के निर्माण के लिए निविदाएं जारी की थीं।

अधिकारी के अनुसार, शुरुआती जांच में सामने आया कि तीन व्यापारियों को अवैध ठेके मिले थे।

कोलकाता के सरकारी आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में नौ अगस्त को महिला चिकित्सक का शव मिला था, जिस पर गंभीर चोटों के निशान थे। इस घटना के संबंध में कोलकाता पुलिस ने रॉय को अगले दिन गिरफ्तार किया था।

इस घटना के खिलाफ देश भर में व्यापक विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं।

कलकत्ता उच्च न्यायालय के निर्देश पर सीबीआई ने हत्या और कथित वित्तीय अनियमितताओं के मामले दर्ज किए।

सियासी मियार की रीपोर्ट